धान क्रय केंद्र प्रभारी के कार्यशैली पर नहीं रहा कोई अंकुश
न्यूज 22 इंडिया
रिपोर्ट-राजकुमार वर्मा
दरियाबाद बाराबंकी,
एक ओर तो सरकार द्वारा किसानों की आय दोगुना करने का ख्वाब का सब्ज बाग किसानों को दिखाया जा रहा है ।
तो वही दूसरी तरफ सरकार का किसानों का धान खरीदने के आदेश को जिम्मेदार अधिकारी पलीता लगाने में जुटे हुए हैं और प्रशासनिक अधिकारियों के गैर जिम्मेदाराना कार्य व खाऊ कमाऊ नीति के चलते देश का अन्न दाता अपनी गाढ़ी कमाई व मेहनत से तैयार किए गए धान को बेचने के लिए दर दर भटक रहा है।
कहने को तो शासन की ओर से किसानों का धान सरकारी दर पर खरीदने के उद्देश्य से दरियाबाद के मथुरा नगर सरकारी विपणन केन्द्र पर धान की खरीद किया जाना सुनिश्चित किया गया है लेकिन सूत्र बताते है कि यह धान क्रय केन्द्र किसानों के लिए बेमतलब साबित हो रहा है
और इस धान क्रय केन्द्र पर केवल आढतियों व्यापारियों तथा दलालों के द्वारा क्रय केन्द्र पर लाए गए धान की खरीद की जा रही है और भारी कमीशनखोरी की जा रही है लेकिन किसानों को धान की तौल कराने के लिए उन्हे लम्बी तारीख दी जा रही है जिससे किसानों के धान की तौल नहीं हो पा रही है।
लेकिन बिचौलियों आढतियो व व्यापारियों के धान की तौल प्रतिदिन की जाती है।
किसानों का कहना है मथुरा नगर धान क्रय केंद् पर व्यापारियों बिचौलियों तथा आढतियो के बल्ले बल्ले हैं और वे 900 रूपये से 1000 रूपये तक में किसानों का धान खरीद कर किसानों के लिए शासन द्वारा खुलवाए गये धान क्रय केन्द्र पर 1868 रूपये में धान बेचकर भारी मुनाफा खोरी कर रहे हैं।
जिसमें खेतौनी किसी और की होती है और धान किसी और का होता है और एस एम आई द्वारा यह भी जांच पड़ताल नहीं किया जाता है कि जिस व्यक्ति द्वारा धान की तौल कराई गई है वह किसान है भी या नहीं।
लेकिन फिर भी सैकड़ो कुन्तल धान बेचने वाले किसान बने हुए हैं। सूत्रों की मानें तो यह सारा गोरख धंधा भारी कमीशनखोरी के बल बूते पर हो रहा है और लोग बहती गंगा में हाथ धोने को उतावले है।
लेकिन जिमेदार उच्चाधिकारी तमाशबीन बने हुए हैं। तो ऐसे में किसानों की आय दोगुनी कैसे होगी यह एक प्रश्न चिन्ह है।